Stevia in Hindi: स्टीविया शाकीय पौधा(Stevia Plant in Hindi) है । इसको खेत में उगाया जाता है और इसकी पत्तियों का उपयोग किया जाता है । इसकी सुधरी हुई संकर प्रजातिया विकसित की गई हैं , जिन्हें बीज से उगाया गया है ।
व्यावसायिक तौर पर इस पौधे की पत्तियों से स्टीवियोसाइड , रेबाडियोसाइड व यौगिकों के मिश्रण को निष्पादन कर उपयोग में लाया जाता है । वैज्ञानिकों ने इसके परिशोधन करने के लिए ऑन विनिमन रेजिन एवं पोलिमेरिक एडजौरेंट रेजिन प्रक्रियाओं का विकास किया है ।
दक्षिण अमेरिका के पौध विविधता केंद्र में इस पौधे की उत्पत्ति हुई थी । जापान , चीन , ताइवान , थाईलैंड , कोरिया , मैक्सिको , मलेशिया , इंडोनेशिया , तंजानिया , कनाडा व अमेरिका में इसकी खेती जारी है । भारत में वर्ष 2000 से इसकी व्यावसायिक खेती शुरू हुई ।
Stevia in Hindi
स्टीविया (Stevia in hindi) की फसल को बहुवर्षीय फसल के रूप में उगाया जा सकता है , लेकिन यह सूखे को सहन नहीं कर सकती । इसको बार – बार सिंचाई की जरूरत होती है ।
पहली सिंचाई के दो या तीन दिन के बाद दूसरी बार सिंचाई की जरूरत पड़ती है । अद्भुत गुणों का संगम यह आयुर्वेदिक पौधा घर में भी लगाया जा सकता है । एक बार लगाया गया पौधा पांच वर्ष तक प्रयोग में लाया जा सकता है ।
स्टीविया के फायदे | Stevia ke Fayde
स्टीविया (Stevia in hindi) इसमें मधुमेह तक मिटाने का गुण है । अब इसने चीनी की जगह लेनी शुरू कर दी है इससे तैयार उत्पाद न केवल स्वादिष्ट हैं , बल्कि दिल के रोग और मोटापे से पीड़ित लोगों के लिए भी फायदेमंद हैं ।
यही नहीं , इसके पौधे में कई औषधीय व जीवाणुरोधी गुण हैं । चीनी विभिन्न रसायनों से गुजरने के कारण स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है , जबकि स्टीविया एस्ट्रेसी कुल का बहुवर्षीय शाकीय पौधा है , जिससे मधुमेह , दिल के रोग और मोटापे में लाभ मिलता है ।
इसका प्रयोग स्वाद बढ़ाने , हर्बल चाय और पेय में किया जाता है । यह शरीर में शर्करा स्तर को प्रभावित नहीं करता ।
स्टीविया का उत्त्पादन | Production of Stevia in Hindi
बाजार में स्टीविया (Stevia) पाउडर डिप पैकेट में उपलब्ध उत्पाद : होते हैं । यह पानी में शीघ्र ही घुल जाता है । इसे हिम – स्टीविया , जीरो क्लोरीज व स्टीविया स्वीटर के नाम से जाना जाता है । इसके अलावा स्टीविया गोलियां भी बाजार में उपलब्ध हैं ।
स्टीविया के फायदे | Stevia Ke Fayde
* स्टीविया (Stevia) में शुगर , मोटापा , कैलोरी को दूर करने के अलावा कई खूबियों का वर्णन आयुर्वेद में मिलता है । यह शक्कर से 25 गुना ज्यादा मीठा , परंतु शक्कर रहित होता है । इसमें 15 आवश्यक खनिज तथा विटामिन्स होते हैं .
* स्टीविया (Stevia) डायबिटीज के मरीजों के लिए मीठा खाना जहर नहीं बनेगा , बशर्ते वह मीठा खाने के तुरंत बाद आयुर्वेदिक पौधे स्टीविया की कुछ पत्तियों को चबा लें । .
* गन्ने से 300 गुणा अधिक मीठा होने के बावजूद स्टीविया पौधे फैट व शुगर से फ्री हैं । इतना अधिक मीठा होने के बावजूद यह शुगर को कम तो करता ही है , साथ ही इसे रोकने में भी सहायक है ।
* खाना खाने से बीस मिनट पहले स्टीविया की पत्तियों का सेवन अत्यधिक फायदेमंद होता है ।
* स्टीविया खाने से पैक्रियाज से इंसुलिन आसानी से मुक्त होता है । आपको शूगर मोटापा है या कैलोरी की दिक्कत आ रही है , तो तीनों मर्ज में स्टीविया का यूज करेंगे , तो भरपूर लाभ होगा
* कुछ यही कहना है आयुर्वेद चिकित्सकों का , उनकी माने तो यदि रोजाना स्टीविया के चार पत्तों का चायपत्ति के रूप में सेवन किया जाए तो यह रामबाण की तरह साबित होगा ।
मौजूदा समय में शुगर , मोटापा , कैलोरी आदि रोग आम हो चुके हैं । इनके रोगियों की संख्या भी बढ़ने लगी है । रोग से निजात पाने के लिए पीड़ित व्यक्ति उपचार के लिए अंग्रेजी दवाओं का सहारा ले रहे हैं , तो दूसरी ओर कई तरह के परहेज कर राहत पाने के प्रयास करते हैं ।
Stevia Plant in Hindi
किंतु आयुर्वेद में इस हर्बल प्लांट स्टीविया पौधे का उल्लेख किया गया है , जिस पर आयुर्वेद चिकित्सकों का अभी भी विश्वास कायम है ।
उनकी मानें , तो स्टीविया साइट नाम का एक रसायन होता है , जोकि चीनी से तीन सौ गुना अधिक मीठा होता है । इसे पचाने से शरीर में एंजाइम नहीं होता और न ही ग्लूकोज की मात्रा बढ़ती है । –
* इसे पकाया जा सकता है , अर्थात इसे चाय , कॉफी , दूध आदि के साथ उबालकर भी प्रयोग किया जा सकता है । –
* दांतों की कैबेटीज , बैक्टीरिया , सड़न आदि को भी रोकता है । .
* स्टीविया ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करता है , इसमें एंटी एजिंग , एंटी डेंड्रफ जैसे गुण पाएं जातें हैं तथा नॉन फर्मन्टेबल होता है ।
मिठास को तरसने की जरूरत नहीं
अक्सर डॉक्टर शुगर के मरीजों से चीनी का सेवन न करने की हिदायद देते हैं । ऐसे में इस बीमारी से पीड़ित व्यक्ति काफी समय के लिए मिठास को तरस जाते हैं ।
किंतु शुगर के मरीज स्टीविया में चीनी से अधिक मिठास होने के चलते मीठास को तरसेंगे भी नहीं और इसके लगातार सेवन से शुगर पर नियंत्रण भी पाया जा सकता है ।
मोटापा भी होगा दूर
आयुर्वेद चिकित्सकों के अनुसार स्टीविया से शुगर के अलावा मोटापे से भी निजात पाई जा सकती है । मोटापे के शिकार व्यक्तियों के लिए भी यह पौधा किसी वरदान से कम नहीं है ।
शुगर ही मोटापे का कारण बनती दिखाई देती है । यदि शुगर न भी हो और इसका सेवन किया जाए , तो न ही शुगर होने की नौबत बन पाएगी और न ही मोटापा होगा ।
कैलोरी भी नहीं बढ़ती
आज कैलोरी की प्रोब्लम भी काफी बढ़ने लगी है । ऐसे में भले ही स्टीविया चीनी से अधिक मीठा हो . किंतु इसमें ग्लूकोज की मात्रा न होने के चलते इससे कैलोरी के अनियंत्रित होने की संभावना नहीं रहती ।
यही कारण है कि स्टीविया का मौजूदा समय में कई शुगर फ्री पदार्थों को बनाने के लिए भी प्रयोग किया जाने लगा है ।
Conclussion | निष्कर्ष
उम्मीद है दोस्तों आपको हमारी ये पोस्ट Stevia in Hindi जरूर पसंद आएगी इसमें हमने स्टेविआ पौधे Stevia plant in Hindi के बारे में लगभग सभी जानकारी दी है और साथ ही इस पौधे के फायदे के बारे में भी बताया है इस पौधे के बारे में जानकारी के लिए कृपया पूरा पोस्ट जरूर पढ़ें।
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