ताली बजाने के फायदे क्या क्या है | Taali Bajane ke Fayde

Taali Bajane ke Fayde: वैसे तो आपने ताली बजाने के फायदे के बारे में सुना होगा पर क्या आपको पता है की एक छोटी – सी थेरेपी से खुद को बीमारियों से दूर रखा जा सकता है । वैसे तो हम किसी को खुश या प्रोत्साहित करने के लिए भी ताली बजाते है , लेकिन यह सेहत के लिए भी बहुत फायदेमद है ।

ताली बजाते समय हाथो के कुछ सास पॉइट्स पर दबाव पड़ता है , जिससे कई बीमारियों में फायदा होता है ।

ताली बजाने से शरीरको आराम मिलता है । इससे श्वेत रक्त कोशिकाएं मजबूत होती है , जो शरीर को किसी भी तरह की बीमारी से बचाने में मदद करती हैं ।

इस थेरेपी के दौरान शरीर में ऑक्सीजन का फ्लो सही रहता है , जिससे फेफड़ों तक ऑक्सीजन सही तरीके से पहुंचती है और शरीर स्वस्थ रहता है ।

रोजाना ताली बजाने से सर्दी जुकाम , बालों का झड़ना और शारीरिक दर्द जैसी समस्याओं से छुटकारा मिलता है । इसके अलावा शरीर के सभी अंगस्वस्थ रहते है ।

ताली बजाने से रक्त संचरण बढ़ता है , जिससे कोलेस्ट्रॉल कम होता है । इससे हृदय रोग , डायबिटीज , अस्थमा और आर्धाइटिस से राहत मिलती है ।

ताली बजाने से नसें सही तरह से काम करती हैं।आइए जानते हैं कि आप किस तरह से क्लैपिंग थेरेपी के जरिये खुद को फिट रख सकते हैं ।

Taali Bajane ke Fayde

यह भी है कुछ ताली बजाने के फायदे | Taali Bajane ke Fayde

सही होता है रक्त संचार

ताली बजाने से हार्ट अटैक जैसी गंभीर बीमारी का खतरा कम होता है । इससे शरीर में रक्त – संचार सही तरीके से होता है , जिससे फेफड़ों में अस्थमा संबंधित रोगकाखतरा भी टलता है ।

बीमारियों से रखे दूर

तेज ताली बजाने से आंख , कान , दिमाग , रीढ़ की हड्डी , कंधों आदि सभी बिंदुओं पर प्रभाव पड़ता है , जिससे तनाव , अनिद्रा , आंखों की कमजोरी , पुराना सिर दर्द , जुकाम , बालों का झड़ना जैसी समस्या से काफी राहत मिलती है ।

दबते हैं दबाव बिन्दु

ताली बजाने से बाएं हाथ की हथेली में लिवर , छोटी-बड़ी आंत , किडनी , फेफड़े , गॉल ब्लैडर और दाएं हाथ की हथेली में साइनस के प्रेशर पॉइंट्स दबते हैं । इन सभी अंगों में ब्लड सर्कुलेशन भी सही ढंग से होने लगता है

शरीर में बढ़ती है ऊर्जा

ताली से मांसपेशियां प्रभावित होती हैं , जिससे पूरे शरीर में ऊर्जा का संचार अच्छे से होता है । इतना ही नहीं , नियमित ताली की आदत से खून में मौजूद सफेद कणों को ताकत मिलती है , जिससे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बेहतर होती है ।

पेट की समस्या होती है दूर

पेट की समस्या जैसे गैस , अपच , कब्ज औरमनोरोग जैसे चिड़चिड़ापन , तनाव , ध्यान में कमी आदि समस्या होने पावलेपिंग थेरपी सुबह – शाम कम से कम चार – पांच मिनट के लिए करें

बच्चो के लिए बेहद जरूरी

बच्चों में बचपन से ही ताली बजाने की आदत डालें । इससे बच्चों का कौशल बढ़ता है । अगर किसी बच्चे को लिखने में समस्या है तो इस समस्या का जड़ से समाधान हो जाता है । इससे बच्चों का दिमाग तेज होता है , जिससे उनकी , पढ़ाई में भी बहुत सुधार आता है ।

घटता है मोटापा

रोजाना ताली बजाने से अतिरिक्त चर्बी धीरे – धीरे कम होने लगती है । इससे मोटापा घटता है । ताली की आदत अनिद्रा की समस्या से भी राहत दिलाती है ।

भोजन के बाद ताली बजाएं

जो लोग हमेशा एयरकंडिशंड माहौल में रहने के आदी हैं , उन्हें भोजन के बाद एक घंटे तक ताली बजानी चाहिए । इससे पसीना आता है , जो रक्त के प्रवाह को सही करता है और खून को शुद्ध करता है ।

बालों को झड़ने से रोके

आजकल ज्यादातर लोग बालों के झड़ने से बहुत परेशान रहते हैं । पुरुष गंजेपन को लेकर परेशान रहते हैं तो महिलाएं भी उनके साथ झड़ते बालों की वजह से चिंतित नजर आती हैं । ऐसे में रोजाना कुछ देरजोर – जोर से ताली बजाना चाहिए । इससे बाल झड़ने से रुक जाएंगे औरलंबे व मजबूत भी होंगे ।

सर्वोत्तम एवं सरल – सहज योग

यह दुनिया का सर्वोत्तम एवं सरल – सहज योग है , जो आपको हमेशा तरोताजा रखेगा । आप भविष्य की कई तकलीफों से बचे रह सकेंगे।गंभीर बीमारी की स्थिति में विशेषज्ञ की सलाह सेहीताली बजानी चाहिए , ताकि कोई नुकसान न हो पाए ।

ऑक्सीजन का फ्लो बढ़ता है

रोजाना नियमित ताली बजाने से ऑक्सीजन काफ्लो इतना अच्छा हो जाता है कि फेफड़ों को पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन मिलने लगती है ।

ताली बजाने के कुछ तरीके

सीधे हाथ की पहली उंगली यानी तर्जनी को दूसरे हाथ की हथेली पर चार बार जोर – जोर से चोट करें । उसके बाद तर्जनी व मध्यमा दोनों को साथ में लेकर चार बार ऐसा करें ।

इसी प्रकार तीन उंगलियों को साथ में लेकर फिर चारों उंगलियों को मिलाकर ऐसा करें , अंत में दोनों हाथों से ताली बजाएं । इस दौरान आंखों को बंद रखें ।

ताली बजाने के बाद दोनों हाथ गर्म व ऊर्जावान हो जाते हैं । ऐसे में ताली बजाने के बाद गहरी सांस भरते हुए मध्यमा उंगली से आंखों को छूते हुए हाथ धीरे – धीरे नीचे की ओर ले जाएं । ऐसा करने से आंखों व चेहरे पर चमक बढ़ती है ।

पांच तरह की तालियां

ताली बजाने से दिल व फेफड़ो की समस्त दूर होती है। पीठ, गर्दन,और जोड़ों के दर्द में आराम मिलता है। लौ ब्लड प्रेसर के मरीज भी इस थैरेपी की मदद ले सकते है।

1. ऊँगली ताली

बांये हाथ की हथेली पर दांये हाथ की चार उंगलियों से ताली ऐसे बजाएं की स्पस्ट आवाज़ सुनाई दे। इससे साइंस, लिवर, फेफड़े आदि पर असर पड़ता है।

2. थप्पी ताली

ताली बजाते वक्त दोनों हाथ एक – दूसरे के समान्तर रहें। इससे आँख,स्पॉनिस्लाइटिस,अवसाद, स्लीप डिस्क में लाभ मिलता है।

3. गृप ताली

दोनों हथेलियां 90 डिग्री के क्रॉस पर रखे। इस ताली को तेज बजने से पसीना आने लगता है जिससे त्वचा साफ़ रहती है।

4. ऊर्जा ताली

हाथो पर सरसो या नारियल का तेल लगाएं और जूता चप्पल पहेनकर खरे हूर हाथो को सीधा रखते हुए ताली बजाये यह ताली बालो को सफ़ेद होने से बचती है।

5. व्रीताकार ताली

इस ताली को थप्पी ताली की तरह ही बजाते है लेकिन उसे क्लॉक या एंटी क्लॉक वाइज व्रीताकार घुमाते रहते है इस ताली से सरीर में रक्त प्रवाह सही रहता है।

Note:- नारियल और सरसो के तेल को मिक्स करके हथेलियों पर लगाएं। अब मोज़े और लेदर सूज पहने ताकि सरीर से उत्पन्न होने वाली ऊर्जा वर्थ ना जाये। दोनों हाथो को सीधे एक -दूसरे के समांतर रखे। हथेलियों को ढीला रखे और अब ताली बाजए। इस थरपी के लिए सुबह का समय सर्वोत्तम है इससे रक्त धमनिया और सिराओ में मौजूद बाद कोलेस्ट्रॉल जैसी रूकावटें दूर हो जाती है।

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